Cyber Crime: दिल्ली में 5.92 करोड़ का इन्वेस्टमेंट फ्रॉड का भंडाफोड़, 4 आरोपी गिरफ्तार

दिल्ली में साइबर क्राइम।
Cyber Crime: दिल्ली क्राइम ब्रांच की साइबर सेल ने देशभर में फैले एक बड़े ऑर्गेनाइज्ड साइबर फ्रॉड और मनी लॉन्ड्रिंग नेटवर्क का भंडाफोड़ किया है। इस मामले में दिल्ली पुलिस ने उत्तराखंड के हल्द्वानी से चार मुख्य आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इन आरोपियों ने पूरे भारत में 5.92 करोड़ रुपए से ज्यादा की ठगी करने वाले हाई-वॉल्यूम म्यूल अकाउंट्स ऑपरेट करते थे। वे सभी आरोपी दुबई में बैठे मास्टरमाइंड के लिए काम कर रहे थे।
पुलिस के अनुसार अप्रैल 2025 में साइबर क्राइम का एक मामला दर्ज कराया गया था। इसमें बताया गया था कि एक पीड़ित से फेसबुक पर फर्जी प्रोफाइल के जरिए संपर्क किया गया, जो एक महिला की थी। इसके बाद उसने सीबीसीएक्स ग्लोबल ट्रेडर्स, मुंबई नाम की कथित एनबीएफसी में 'हाई रिटर्न' इन्वेस्टमेंट का लालच दिया। उसने दो महीने तक लगातार उकसाने के बाद पीड़ित से लगभग 5,92,44,480 रुपए की ठगी की गई।
फाइनेंशियल जांच में पाया गया कि ठगी का पैसा पहले 33 अलग-अलग बैंक अकाउंट्स में भेजा गया। इसके बाद कई लेयर्स में ट्रांसफर कर ट्रेल मिटाने की कोशिश की गई। इसके बाद साइबर सेल ने एनसीआरपी पोर्टल पर दर्ज 10 अन्य शिकायतों से भी कनेक्शन जोड़ा। इसमें दर्ज शिकायतों में ही 1.1 करोड़ रुपए से ज्यादा की ठगी सामने आई।
गिरफ्तार आरोपियों की पहचान 22 वर्षीय अनस अंसारी, 22 वर्षीय मोहम्मद कैफ, 22 वर्षीय मोहम्मद दानिश और 40 वर्षीय आकिब के तौर पर हुई है। ये सभी आरोपी उत्तराखंड के हलद्वानी के रहने वाली हैं। दानिश दुबई-बेस्ड हैंडलर के लिए म्यूल अकाउंट जुटाता था। वो OTP शेयर करता था और कैश निकालकर कमीशन पर बांट देता था। बाकी सभी आरोपी अपने-अपने बैंक अकाउंट्स का इस्तेमाल कर ठगी के पैसे को तुरंत कैश करने के लिए इस्तेमाल करते थे।
इस बारे डीसीपी क्राइम ब्रांच आदित्य गौतम ने बताया कि यह एक मल्टी-टियर साइबरक्राइम सिंडिकेट है। इसमें फ्रंट-एंड फ्रॉडस्टर, लेयर-1 बिजनेस अकाउंट्स, लेयर-2 म्यूल अकाउंट्स और कैश कलेक्टर्स शामिल हैं। क्राइम ब्रांच की इस कार्रवाई से पूरे नेटवर्क को गहरा झटका लगा है। सभी आरोपियों को हलद्वानी से गिरफ्तार कर दिल्ली लाया गया है।
