Delhi BMW Accident: बेटे के जन्मदिन पर उठी नवजोत सिंह की अर्थी, पत्नी ने नम आंखों से दी विदाई

वित्त मंत्रालय के डिप्टी सेक्रेटरी नवजोत सिंह का हुआ अंतिम संस्कार।
Delhi BMW Accident: दिल्ली के धौला कुआं इलाके में 14 सितंबर को हुए बीएमडब्ल्यू कार हादसे में वित्त मंत्रालय के अधिकारी नवजोत सिंह की मौत हो गई थी। इस हादसे से उनकी उनके पूरे परिवार की खुशियां उजड़ गईं। मंगलवार को नवजोत को अंतिम संस्कार के लिए बेरी वाला बाग घाट पर ले जाया गया। इस दौरान परिवार के सदस्यों से लेकर दोस्त और रिश्तेदारों समेत हर किसी की आंखें नम थीं। उनके परिवार के लिए ये सबसे दुखद दिन है। आज ही दिन उनके बेटे नवनूर सिंह का जन्मदिन है और इसी दिन नवजोत की संसार से विदा किया जा रहा है।
मंगलवार को नवजोत सिंह के शव का दीन दयाल अस्पताल में पोस्टमार्टम किया गया। इसके बाद उनके पार्थिव शरीर को द्वारका के वेंकटेश्वर अस्पताल ले जाया गया, जहां पर उनकी पत्नी संदीप कौर का इलाज चल रहा है। हादसे में उन्हें भी काफी चोटें आईं हैं। संदीप कौर ने अपने पति का चेहरा देखा और जोर-जोर से रोने लगी। यह बेहद भावुक कर देने वाला था।
बेरी वाला बाग घाट हुआ अंतिम संस्कार
नवजोत सिंह का अंतिम संस्कार बेरी वाला बाग घाट पर हुआ। वहां पर उनके परिवार के सदस्य, दोस्त और रिश्तेदार मौजूद रहे। इसके अलावा नवजोत के सहयोगी और जापान, साउथ कोरिया, चीन एंबेसी के प्रतिनिधि भी अंतिम संस्कार में मौजूद रहे। बता दें कि नवजोत सिंह इन देशों के बाइलेटरल हेड थे।
VIDEO | Dhaula Kuan BMW accident case: Victim Navjot Singh's mortal remains taken to cremation ground for last rites.
— Press Trust of India (@PTI_News) September 16, 2025
(Full video available on PTI Videos - https://t.co/n147TvrpG7) pic.twitter.com/BweoQS9lCC
बेटे के लिए बुक किया था सरप्राइज गिफ्ट
बीएमडब्ल्यू कार हादसे में जान गंवाने वाले नवजोत सिंह ने अपने बेटे के लिए ऑनलाइन गिफ्ट बुक करवाया था। मंगलवार सुबह उनके बेटे को गिफ्ट मिला, लेकिन परिवार में मातम छाया रहा। बेटे के जन्मदिन के ही दिन पर नवजोत सिंह को अंतिम विदाई दी गई।
बता दें कि 14 सितंबर को दिल्ली के धौला कुआं इलाके में एक बीएमडब्ल्यू कार ने मोटरसाइकिल को टक्कर मार दी थी। इस हादसे में वित्त मंत्रालय में डिप्टी सेक्रेटरी नवजोत सिंह (52) की मौत हो गई थी। उनकी पत्नी भी गंभीर रूप से घायल हो गई थीं। वह अपनी पत्नी के साथ बंगला साहिब गुरुद्वारा से घर लौट रहे थे।
