20 साल बाद बदलेगा 5वीं-8वीं का सिलेबस: सेंट्रलाइज्ड बोर्ड परीक्षा के कारण फैसला

20 साल बाद बदलेगा 5वीं-8वीं का सिलेबस :  सेंट्रलाइज्ड बोर्ड परीक्षा के कारण फैसला
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प्रदेश के पांचवी और आठवीं कक्षा के छात्र शैक्षणिक सत्र 2026-27 से नवीन पाठ्यक्रम का अध्ययन करेंगे।

रायपुर। प्रदेश के पांचवी और आठवीं कक्षा के छात्र शैक्षणिक सत्र 2026-27 से नवीन पाठ्यक्रम का अध्ययन करेंगे। ना सिर्फ पांचवी और आठवीं, बल्कि चौथी और सातवीं के सिलेबस में भी बदलाव किया जाएगा। वर्तमान शैक्षणिक सत्र में पहली, दूसरी, तीसरी और छठवीं में नया सिलेबस लागू किया गया है। इस तरह से अगले शैक्षणिक सत्र से पहली से आठवीं तक सभी कक्षाओं के पाठ्यक्रम अपडेट हो जाएंगे। राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद द्वारा इसके पूर्व 2005 में सिलेबस में बदलाव किया गया था। इसके बाद विभिन्न सत्रों में आवश्यकतानुसार कई टॉपिक जोड़े-घटाते गए, लेकिन पूर्ण रूप से पाठ्यक्रम में बदलाव कभी नहीं किया गया।

एससीईआरटी की किताबें अपडेट नहीं होने के कारण निजी स्कूलों द्वारा प्राइवेट पब्लिशर्स की किताबें अपने संस्थानों में लागू की जाती है। बीते सत्र में जब स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा केंद्रीय स्तर पर पांचवी-आठवीं की बोर्ड परीक्षाओं की घोषणा की गई तो निजी स्कूलों ने इस पर आपत्ति जताई, क्योंकि उनके यहां एससीईआरटी के स्थान पर प्राइवेट पब्लिशर्स की किताबों से अध्ययन हो रहा था। राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अंतर्गत पाठ्यक्रम अपडेट किए जाने संबंधित प्रावधान के साथ-साथ अब इस समस्या का भी समाधान हो सकेगा।

ब्रिज कोर्स को लेकर फैसला नहीं
जिन विद्यालयों में एनसीईआरटी पाठ्यक्रम से पढ़ाई होती है, उन स्कूलों में नया कोर्स लागू करने से पहले छात्रों के लिए ब्रिज कोर्स लागू किया गया था। ब्रिज कोर्स वह अध्ययन सामग्री होती है, जिसके माध्यम से पुराने और नए पाठ्यक्रम के मध्य की दूरी पाटी जाती है। ये अध्ययन सामग्री स्कूलों को ऑनलाइन उपलब्ध कराई गई थी। प्रदेश में नवीन पाठ्यक्रम से पूर्व ब्रिज कोर्स लागू होगा या नहीं, इसे लेकर निर्णय नहीं हुआ है।

एनसीईआरटी की किताबें होंगी अडॉप्ट
अगले सत्र से जिन कक्षाओं की किताबों में बदलाव किया जाना है, उन्हें अंतिम रूप देना प्रारंभ कर दिया गया है। एनसीईआरटी की किताबों को ही इसके लिए अडॉप्ट किया जा रहा है। इसमें कुछ प्रतिशत बदलाव करते हुए स्थानीय जानकारी शामिल की जाएंगी। शेष पाठ्यक्रम एनसीईआरटी की ही तर्ज पर होगा। किन हिस्सों में बदलाव किया जाएगा एवं कौन से तथ्य नवीन रूप से जोड़े जाएंगे, इस पर मंथन जारी है।

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