बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के बिलासपुर जिले के दयालबंद सोनकर मोहल्ले में एक दबंग महिला का गरीब महिला से विवाद हो गया। विवाद के बाद उसने उसका मकान बुलडोजर चलवा कर ढहा दिया। विरोध करने पर महिलाओं के साथ जमकर मारपीट भी की गई। दोनों पक्षों के विवाद में 8 लोग घायल हो गए। रविवार को हुए घटना से नाराज लोगों ने चक्काजाम कर दिया। वहीं पूरे मामले को पुलिस ने राजस्व का बताया और तमाशा देखती रही।
   
मिली जानकारी के अनुसार, साधना रजक रोजी-मजदूरी करती हैं। उनके पड़ोसी गिरधारी गोरख से जमीन को लेकर उनका विवाद चल रहा है। कल शाम करीब पांच बजे गिरधारी गोरख और उसके लोग बुलडोजर लेकर पहुंच गए। यहां उन्होंने महिला के मकान को बुलडोजर से ढहा दिया। मना करने पर विवाद करते हुए अपशब्द कहकर उनकी पिटाई भी कर दी। 

अपना मकान ढहते देख बिलखती महिला

तमाशा देखती रही पुलिस

पीड़ित परिवार ने इस घटना की जानकारी पुलिस को दी। सूचना मिलते ही पुलिस की टीम मौके पर पहुंची। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की। इससे नाराज लोगों ने चक्काजाम कर जमकर नारेबाजी की और हंगामा मचाया। 

दोनों पक्षों की शिकायत पर केस दर्ज 

इधर विवाद और मारपीट के बाद रसूखदार परिवार के लोग भी सिटी कोतवाली थाना पहुंच गए। उन्होंने महिला और परिवार पर पथराव और मारपीट करने का आरोप लगाया। उसने परिवार के खिलाफ केस दर्ज करा दिया। मामले में पुलिस ने दोनों पक्षों की शिकायत पर केस दर्ज किया है।

छुट्टी के दिन बुलडोजर चलाने पर उठा सवाल

इधर, छुट्टी के दिन गरीब महिला के घर पर बुलडोजर चलाने को लेकर सवाल उठ रहा है। नगर निगम के सभापति शेख नजीरुद्दीन ने कहा कि, भाजपा सरकार आने के बाद गरीबों के मकान पर प्रशासन का बुलडोजर चल रहा है और रसूखदारों को पनाह दी जा रही है। उन्होंने पूछा दयालबंद में रविवार को छुट्टी के दिन कानून को ताक पर रखकर बुलडोजर कैसे चला दिया गया। अगर महिला का मकान अवैध था तो पहले उन्हें नोटिस देकर कानूनी तरीके से कार्रवाई करनी चाहिए थी।

पुलिस ने घटना को बताया राजस्व का मामला

हैरानी की बात यह है कि, रसूखदार के मकान ढहाने पर पुलिस ने राजस्व का मामला बताया। टीआई कमला पुसाम ने कहा कि, मारपीट और पथराव करने पर दोनों पक्षों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। बुलडोजर चलाने से पहले किसी तरह से नोटिस की जानकारी मुझे नहीं है।