वंदन योजना में फर्जीवाड़ा: लाभ उठा रहीं सैकड़ों फर्जी 'महतारियां', सरकारी नौकरी वाली, नौकरी वालों के परिजन भी लाभार्थी

वंदन योजना में फर्जीवाड़ा : लाभ उठा रहीं सैकड़ों फर्जी महतारियां, सरकारी नौकरी वाली, नौकरी वालों के परिजन भी लाभार्थी
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छत्तीसगढ़ सरकार की महत्वाकांक्षी 'महतारी वंदन योजना' का लाभ उठाने वालों में लगातार अपात्र महिलाओं के नाम सामने आ रहे हैं। इनमें कई तो सरकारी नौकरी वाली महिलाएं भी हैं।

रायपुर। घरेलू महिलाओं को आर्थिक रूप से मजबूत एवं सशक्त बनाने के लिए महतारी वंदन योजना शुरू की गई है। इस योजना के तहत रायपुर जिले में 5 लाख 35 हजार से ज्यादा महिला हितग्राहियों के बैंक खातों में हर महीने एक हजार रुपए ट्रांसफर किए जा रहे हैं। महंगाई के इस दौर में यह राशि महिलाओं के लिए राहत पहुंचाने के काम आ रही है, लेकिन इस योजना में अनियमितता भी देखी जा रही है।

इस योजना का लाभ पात्र हितग्राहियों के अलावा ऐसी अपात्र महिलाएं भी उठा रही हैं, जो स्वयं शासकीय सेवा में पदस्थ हैं। इसके साथ कई शासकीय सेवा में पदस्थ पुरुषों की पत्नी और बेटियां भी हैं जो योजना का कई महीनों से लाभ ले रही हैं। कुछेक ऐसी भी महिलाएं हैं जो रिटायरमेंट के बाद पेंशन के साथ योजना का भी लाभ ले रही हैं। इसके अलावा मृत्यु हो चुकी हितग्राही, अविवाहित, 21 वर्ष से कम आयु, राज्य के बाहर रहने वाली महिलाएं भी हैं, जो योजना का लाभ ले रही हैं। इधर महिला एवं बाल विकास विभाग ने इन सभी अपात्र महिलाओं के बैंक खातों में ट्रांसफर होने वाली राशि को न केवल होल्ड करा दिया है, बल्कि अब उनके खातों में ट्रांसफर हुई राशि की वसूली करने की प्रक्रिया भी शुरू कर दी है।

बिना जांच-पड़ताल के दे दी गई स्वीकृति
इस योजना के तहत पात्र हितग्राही के चयन के लिए नियम बनाए गए हैं। इन नियमों के तहत ही पात्र हितग्राहियों के आवेदनों को स्वीकृति देकर उन्हें योजना का लाभ दिया जाना था, लेकिन विभाग की बड़ी चूक के कारण शासकीय कर्मचारियों और परिवार की महिला सदस्यों को भी इस योजना में शामिल कर उन्हें कई महीनों तक लाभ दिया गया।

42 महिला कर्मी, 78 सेवकों की पत्नी एवं 6 बेटी उठा रहीं योजना का लाभ
महतारी वंदन योजना के नियम के तहत सभी महिला हितग्राहियों से शपथ पत्र भी लिए गए हैं। इस शपथ पत्र में स्पष्ट रूप से लिखा हुआ है कि हितग्राही शासकीय नौकरी में स्थाई, संविदा के पद पर पदस्थ नहीं है, और न ही उनके परिवार का कोई सदस्य शासकीय नौकरी या लोकसभा, विधानसभा, बोर्ड, निगम, मंडल का पूर्व या वर्तमान सदस्य है। इस शपथ पत्र के बाद भी जिले में विभिन्न शासकीय विभागों में पदस्थ 42 महिलाएं, 78 पुरुष कर्मियों की पत्नी एवं 6 बेटी भी इस योजना का लाभ उठा रही थीं।

मृत्यु के बाद भी 1970 हितग्राहियों के खातों में जा रहे थे पैसे
योजना का लाभ लेने वाली कई हितग्राहियों की मृत्यु हो चुकी है, लेकिन उनकी मृत्यु की जानकारी हितग्राही के परिजनों द्वारा विभाग में नहीं दी गई, जिसके कारण योजना की राशि मृत हितग्राही के खाते में हर महीने ट्रांसफर होती रही। विभाग की जांच में ऐसी 1970 हितग्राही मिली है, जिनकी मृत्यु होने के बाद भी उनके खातों में राशि जा रही थी।

रिकवरी की जाएगी राशि
महिला एवं बाल विकास के जिला कार्यक्रम अधिकारी शैल ठाकुर ने बताया कि,सभी अपात्र हितग्राहियों को जारी होने वाली राशि पर रोक लगा दी है। जितनी राशि जारी हो चुकी है, उसकी वसूली की जाएगी। इसकी प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।

कार्रवाई की जगह वसूली
अपात्र होने के बाद भी झूठा शपथ पत्र देकर खुद को पात्र बताकर योजना का लाभ लेने वाली समस्त महिलाओं से विभाग अब वसूली की कार्रवाई करेगा। इसके लिए मुख्यालय से सभी जिला मुख्यालयों को आदेश भी जारी हो चुका है।

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