सरकार विरोधी टिप्पणी के बाद गिरी गाज: प्रधान पाठक को किया गया निलंबत, हड़ताली कर्मचारियों को उकसाने के आरोप

सरकार विरोधी टिप्पणी मामले में प्रधान पाठक निलंबित
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सरकार विरोधी टिप्पणी मामले में प्रधान पाठक निलंबित

सोशल मीडिया शासन के खिलाफ टिप्पणी करने मामले में राजनांदगांव जिले के प्रधान पाठक को निलंबित कर दिया गया है। हड़ताली कर्मचारियों उकसाने का है आरोप।

राजनांदगांव। छत्तीसगढ़ के राजनांदगांव जिले के प्रधान पाठक को सरकार के खिलाफ टिप्पणी करना भारी पड़ गया। जिसके बाद अब छुरिया विकासखंड के शासकीय प्राथमिक शाला पैरीटोला के प्रधान पाठक जाकेश साहू को निलंबित कर दिया गया है। जाकेश साहू ने सोशल मीडिया पर आवश्‍यक सेवा अनुरक्षण कानून (एस्‍मा) लगे हुए हड़ताली कर्मचारियों को लेकर अपनी बात रखी थी।

निलबंन आदेश में कहा गया है कि, एस्‍मा मामले में सोशल मीडिया पर उकसाने के लिए शासन के विरूद्ध टिप्पणियां की थी। जिसके बाद अब शासकीय कर्मचारी होते हुए भी शासन के खिलाफ टिप्पणी करने के चलते उन्हे सिविल सेवा आचरण नियम 1965 के नियम 03 के विपरित आचरण पाये जाने पर निलबिंत कर दिया गया है।

पूर्व में भी अनुशासनहीनता के आरोप
निलबंन आदेश में कहा गया है कि, पूर्व में भी प्रधान पाठक ने विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी छुरिया के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी सोशल मीडिया और समाचार पत्रों में की गई थी। वहीं चेन ऑफ कमाण्ड की अनदेखी करते हुए सीधे राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री को पत्र प्रेषित कर घोर स्वेच्छाचारिता का परिचय दिया गया था।

माफीनामा के बाद भी की गई टिप्पणी
बाद में माफीनामा प्रस्तुत कर सभी आरोपों को स्वीकार करते हुए इस प्रकार की कृत्यों से दूर रहने का आश्वासन दिया था। इसके बाद भी एस्मा लगे हड़ताली कर्मचारियों के समर्थन में शासन के विरुद्ध सोशल मीडिया पर टिप्पणियां की गई। ऐसे में घोर लापरवाही और अनुशासनहीनता को देखते हुए प्रधान पाठक को निलंबित कर दिया गया है। वहीं निलंबन अवधि में उनका मुख्यालय विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी डोंगरगढ़ किया गया है।

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