पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने पलटा कलकत्ता हाईकोर्ट का फैसला, जानें क्या कहा...

पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने पलटा कलकत्ता हाईकोर्ट का फैसला, जानें क्या कहा...
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सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध नहीं लगा सकते हैं। हम ग्रीन पटाखों के फोड़ने की इजाजत देते हैं। लेकिन उन्हीं इलाकों में ग्रीन पटाखे जलाए जाएं, जहां पर वायु प्रदूषण मध्यम कैटगिरी में है।

सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने बंगाल में कलकत्ता हाईकोर्ट (Calcutta High Court) के उस फैसले को पलट दिया है। जिसमें कहा गया था कि त्योहारी मौसम के दौरान बंगाल में पटाखों (Banned on Firecrackers) पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा। पश्चिम बंगाल स्थित पटाखा संघ के अध्यक्ष गौतम रॉय की तरफ से कलकत्ता हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ याचिका दायर की गई थी। जिसको लेकर कोर्ट ने एक बयान जारी किया।

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध नहीं लगा सकते हैं। हम ग्रीन पटाखों के फोड़ने की इजाजत देते हैं। लेकिन उन्हीं इलाकों में ग्रीन पटाखे जलाए जाएं, जहां पर वायु प्रदूषण मध्यम कैटगिरी में है। जस्टिस एएम खानविलकर और अजय रस्तोगी की बेंच ने बंगाल सरकार से पूछा कि क्या यह संभव है कि प्रतिबंधित पटाखों और उससे संबंधित सामान को राज्य के एंट्री प्वाइंट पर ही रोक दिया जाए।

जानकारी के लिए बता दें कि पीठ सारा बांग्ला आतिशबाजी उन्नयन समिति के पटाखा निर्माताओं के एक संघ के अध्यक्ष गौतम रॉय की एक याचिका पर सुनवाई की। जिसमें पूर्ण प्रतिबंध को चुनौती दी थी। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दुरुपयोग को रोकने के लिए तंत्र को मजबूत किया जाना चाहिए। 0कलकत्ता उच्च न्यायालय ने 29 अक्टूबर को राज्य में सभी प्रकार के पटाखों की बिक्री, उपयोग और खरीद पर प्रतिबंध लगा दिया था।

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