कोरोना का कहर: चीन से अमेरिका पहुंचा NB.1.8.1 वैरिएंट, हर हफ्ते 350 मौतें; जानिए एक्सपर्ट ने क्या कहा?

How dangerous NB.1.8.1 variant
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How dangerous NB.1.8.1 variant

कोरोना वायरस का नया सब-वैरिएंट NB.1.8.1 काफी खतरनाक है। अमेरिका में पिछले सप्ताह 350 लोगों की मौत हुई है। जापान, हांगकांग, सिंगापुर, थाईलैंड, दक्षिण कोरिया और फ्रांस में भी इसका वायरस फैल रहा है।

Corona NB.1.8.1 variant : भारत में भले ही कोविड-19 के मामले फिलहाल नियंत्रण में हैं, लेकिन अमेरिका में कोरोना वायरस का नया सब-वैरिएंट NB.1.8.1 चिंता का कारण बनता जा रहा है। अमेरिकी स्वास्थ्य एजेंसी CDC (सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन) के मुताबिक, एक हफ्ते में कोरोना से 350 मौतें रिकॉर्ड की गई हैं। मृतकों में अधिकांश हाई-रिस्क समूह के मरीज शामिल हैं।

चीन से फैला, अब अमेरिका में तेजी से संक्रमण
रिपोर्ट्स के मुताबिक NB.1.8.1 वैरिएंट चीन से अमेरिका में पहुंचा है। नतीजन, अब न्यूयॉर्क, कैलिफोर्निया, वाशिंगटन और वर्जीनिया जैसे बड़े राज्यों में तेजी से फैल रहा है। यूएस के अलावा अलावा जापान, हांगकांग, सिंगापुर, थाईलैंड, दक्षिण कोरिया और फ्रांस में भी यह वैरिएंट दस्तक दे चुका है।

वैक्सीन का घटता असर चिंता का कारण
CDC के मुताबिक, 24 अप्रैल तक अमेरिका में 18 वर्ष से ऊपर की केवल 23% आबादी को ही कोविड की नई वैक्सीन लगी है। विशेषज्ञों का मानना है कि वैक्सीन के असर में कमी और वैरिएंट की बदलती प्रकृति के चलते इम्यूनिटी कमजोर पड़ रही है। इससे संक्रमण और मौत का खतरा बढ़ रहा है।

बुजुर्गों और बीमारों के लिए खतरा ज्यादा
विशेषज्ञों ने बताया कि 65 वर्ष से अधिक उम्र के नागरिकों को हर 6 माह में कोविड की दो डोज लेने की सलाह दी जा रही है। गंभीर बीमारियों से ग्रसित और बुजुर्ग लोगों में यह वैरिएंट गंभीर प्रभाव डाल रहा है।

इलाज में देरी भी जानलेवा
डॉक्टरों का कहना है कि कई मरीज शुरुआती लक्षणों को नजरअंदाज करते हैं, और तब अस्पताल आते हैं जब स्थिति गंभीर हो जाती है। इसके कारण उन्हें बचा पाना मुश्किल हो जाता है।

दवाओं की बिक्री में तेजी
इस बीच, Molnupiravir, Paxlovid और Remdesivir जैसी एंटीवायरल दवाओं की मांग में भारी इजाफा देखा गया है। कोविड का यह नया रूप भले ही भारत में फिलहाल गंभीर न हो, लेकिन अमेरिका और एशिया के कुछ देशों में यह फिर से चिंता का कारण बन गया है। विशेषज्ञों ने सतर्कता बरतने, वैक्सीनेशन को बढ़ावा देने और शुरुआती लक्षणों पर तुरंत इलाज लेने की सलाह दी है।

NB.1.8.1 वैरिएंट के सामान्य लक्षण

  1. तेज़ बुखार या ठंड लगना
  2. गला खराब होना / खराश
  3. खांसी (सूखी या बलगम वाली)
  4. सिरदर्द और बदन दर्द
  5. नाक बहना या बंद होना (सर्दी जैसे लक्षण)
  6. थकान और कमजोरी का अहसास
  7. स्वाद और गंध का कमजोर होना या चले जाना
  8. आँखों में जलन या पानी आना
  9. पेट खराब होना / डायरिया (कुछ मामलों में)
  10. सीने में जकड़न या सांस लेने में तकलीफ (गंभीर मामलों में)

NB.1.8.1 वैरिएंट से बचाव के प्रभावी उपाय

  1. वैक्सीनेशन और बूस्टर डोज़ लें:
    नई वैक्सीन डोज़ (यदि उपलब्ध हो) अवश्य लें। खासकर यदि आप 60+ उम्र के हैं या किसी गंभीर बीमारी से ग्रसित हैं। विशेषज्ञों के अनुसार, 6 महीने के अंतराल में बूस्टर डोज़ लेना 65+ उम्र वालों के लिए जरूरी है।
  2. मास्क पहनें: भीड़-भाड़ वाली जगहों, अस्पतालों, सार्वजनिक परिवहन, एयरपोर्ट आदि पर N95 या सर्जिकल मास्क पहनना जरूरी है।
  3. सोशल डिस्टेंस बनाकर रखें: कम से कम 6 फीट की दूरी बनाए रखें, खासकर बंद और भीड़भाड़ वाली जगहों पर।
  4. हाथों की स्वच्छता: बार-बार साबुन और पानी से हाथ धोएं या अल्कोहल बेस्ड सैनिटाइज़र का इस्तेमाल करें।
  5. खुद को आइसोलेट करें: बुखार, गले में खराश, खांसी, सांस की दिक्कत जैसे लक्षण दिखें तो तुरंत खुद को आइसोलेट करें और डॉक्टर से संपर्क करें।
  6. वेंटिलेशन सुधारें: घर और ऑफिस में प्राकृतिक हवा का प्रवाह बनाए रखें। एयर प्यूरिफायर या HEPA फिल्टर का इस्तेमाल भी उपयोगी साबित हो सकता है।
  7. इम्यूनिटी मजबूत करें: संतुलित आहार लें, नियमित व्यायाम करें, पर्याप्त नींद लें। विटामिन C, D और जिंक का सेवन डॉक्टर की सलाह से करें।
  8. अफवाहों से बचें: सोशल मीडिया या व्हाट्सएप फॉरवर्ड्स पर भरोसा न करें। केवल सरकारी स्वास्थ्य एजेंसियों या विश्वसनीय स्रोतों की जानकारी पर ही भरोसा करें।

NB.1.8.1 वैरिएंट से किन्हें ज्यादा खतरा?
NB.1.8.1 वैरिएंट से सर्वाधिक खतरा 60 साल से अधिक उम्र के लोगों को है। इनके अलावा हृदय रोग, डायबिटीज़ और कैंसर जैसी गंभीर बीमारी से जूझ रहे लोगों को बचकर रहने की जरूरत है। जिनकी इम्यूनिटी कमजोर है, वह भी सावधान रहें। जिन्होंने वैक्सीन की बूस्टर डोज़ नहीं लगवाई है, वह लोग भी अलर्ट रहें।

NB.1.8.1 वैरिएंट: शुरुआती लक्षण पर क्या करें?
तुरंत कोविड टेस्ट करवाएं और खुद को आइसोलेट करें। डॉक्टर से परामर्श लें। 2-3 दिन से ज्यादा बुखार आए या सांस लेने में दिक्कत हो तो पानी खूब पिएं, आराम करें और डॉक्टर की सलाह पर जरूरी दवाएं लें।

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