लखीमपुर खीरी: डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत; मां की हालत गंभीर, प्रशासन ने गोलदार हॉस्पिटल को किया सील

Lakhimpur Kheri, Goldar hospital
UP News: लखीमपुर खीरी जिले के महेवागंज स्थित गोलदार हॉस्पिटल में प्रसव के दौरान लापरवाही के गंभीर मामले का संज्ञान लेते हुए जिला प्रशासन ने तत्काल कड़ा कदम उठाया है। इस घटना में एक नवजात की मृत्यु हो गई थी और मां की हालत गंभीर हो गई थी। जिला प्रशासन ने गोलदार हॉस्पिटल को सील करने की कार्रवाई शुरू कर दी है और मामले की गहन जांच के निर्देश दिए हैं।
जिलाधिकारी श्रीमती दुर्गा शक्ति नागपाल ने कहा, "लखीमपुर खीरी जिले का हर शख्स मेरे परिवार का सदस्य है। इस दुख की घड़ी में पूरा जिला प्रशासन पीड़ित परिवार के साथ खड़ा है। लापरवाही किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं की जाएगी।" प्रशासन ने गोलदार हॉस्पिटल के खिलाफ त्वरित कार्रवाई करते हुए अस्पताल को सीज करने का आदेश दिया।
पीड़ित परिवार को मदद का आश्वासन
घटना की जानकारी मिलते ही सदर एसडीएम अश्विनी कुमार सिंह और मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ. संतोष कुमार गुप्ता ने मौके पर पहुंचकर जांच शुरू की। सीएमओ ने अस्पताल को नियमों के उल्लंघन और गंभीर लापरवाही का दोषी पाते हुए सील करने की कार्रवाई शुरू की। साथ ही, जिला प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों ने पीड़ित परिवार के घर पहुंचकर हर संभव मदद का आश्वासन दिया।
नवजात की मां का इलाज जारी
प्रसूता (नवजात की मां) को वर्तमान में निजी अस्पताल सृजन में भर्ती कराया गया है, जहां उनका इलाज चल रहा है। डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल ने सृजन हॉस्पिटल के प्रशासन से बात कर प्रसूता के इलाज में किसी भी तरह की लापरवाही न होने के सख्त निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा, "प्रसूता के इलाज में अच्छे से अच्छा उपचार सुनिश्चित किया जाए।"
डीएम ने प्रसूता के इलाज का पूरा खर्च उठाने की घोषणा की है और एडीएम एके रस्तोगी को नियमित रूप से प्रसूता का हाल-चाल लेने के लिए सृजन अस्पताल भेजा है। वर्तमान में प्रसूता की सेहत में सुधार हो रहा है, और जिला प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी लगातार पीड़ित परिवार के संपर्क में हैं।
दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई
प्रशासन ने स्पष्ट किया कि इस दुखद घटना के दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने के लिए कड़े कदम उठाए जाएंगे। इस घटना ने जिले में निजी अस्पतालों की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाए हैं। जिला प्रशासन ने सभी अस्पतालों को चेतावनी दी है कि मरीजों के इलाज में किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
