मुसीबत मे मुलायम सिंह यादव की छोटी बहू अपर्णा यादव! भाई पर 14 करोड़ की ठगी का आरोप, FIR दर्ज

मुसीबत मे मुलायम सिंह यादव की छोटी बहू अपर्णा यादव!  भाई पर 14 करोड़ की ठगी का आरोप, FIR दर्ज
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भाजपा नेता और उत्तर प्रदेश महिला आयोग की उपाध्यक्ष अपर्णा यादव, मुसीबत में फंस गई है उनके भाई चंद्र शेखर सिंह बिष्ट उर्फ अमन बिष्ट और उनकी मां अंबी बिष्ट के खिलाफ अलग-अलग मामलों में एफआईआर दर्ज की गई है।

लखनऊ : भारतीय जनता पार्टी की नेता और उत्तर प्रदेश महिला आयोग की उपाध्यक्ष अपर्णा यादव के भाई चंद्र शेखर सिंह बिष्ट उर्फ अमन बिष्ट पर धोखाधड़ी का गंभीर आरोप लगा है। लखनऊ के गोमती नगर थाने में एक रियल एस्टेट कंपनी के निदेशक की शिकायत पर कोर्ट के आदेश के बाद उनके खिलाफ 14 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज किया गया है। यह पूरा मामला जमीन की खरीद-बिक्री से जुड़ा है, जिसमें अमन बिष्ट और उनके सहयोगी हिमांशु राय पर करोड़ों रुपये की ठगी का आरोप लगाया गया है।

ठगी के आरोप और कानूनी कार्रवाई

लखनऊ की एक रियल एस्टेट कंपनी 'मरर्चन्टास इन्फाहाइट्स प्राइवेट लिमिटेड' के निदेशक ठाकुर सिंह मनराल ने कोर्ट में एक प्रार्थना पत्र दाखिल कर अमन बिष्ट और उनके सहयोगी हिमांशु राय के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग की थी। याचिका पर सुनवाई के बाद, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने तत्काल एफआईआर दर्ज करने का आदेश दिया। इसी आदेश के बाद, गोमती नगर थाने में भारतीय न्याय संहिता की गंभीर धाराओं 316(5), 318(4), 338, 336(3) और 351 के तहत केस दर्ज किया गया है।

क्या था पूरा मामला?

शिकायतकर्ता ठाकुर सिंह ने बताया कि वे जमीन खरीद-बिक्री का कारोबार करते हैं। अमन बिष्ट ने जमीन के नाम पर उनसे करोड़ों रुपये लिए लेकिन न तो जमीन दी और न ही पैसे वापस किए। यह धोखाधड़ी का मामला इसलिए भी गंभीर है क्योंकि इसमें एक प्रभावशाली परिवार से जुड़े व्यक्ति का नाम सामने आया है।

परिवार पर लगातार आरोप और एफआईआर

यह पहला मौका नहीं है जब अपर्णा यादव के परिवार के किसी सदस्य के खिलाफ कानूनी कार्रवाई हुई है। अमन बिष्ट की मां और समाजवादी पार्टी के संस्थापक मुलायम सिंह यादव की समधन अंबी बिष्ट के खिलाफ भी हाल ही में, यानी 19 सितंबर को एफआईआर दर्ज की गई थी। अंबी बिष्ट पर 2016 के जानकीपुरम जमीन घोटाले में संलिप्तता का आरोप है। उस समय वह लखनऊ विकास प्राधिकरण में संपत्ति अधिकारी के पद पर थीं।

आरोप है कि उन्होंने एलडीए के कुछ अन्य अधिकारियों के साथ मिलकर प्रियदर्शिनी जानकीपुरम योजना के भूखंडों के आवंटन में हेरफेर किया और गलत तरीके से उनका रजिस्ट्रेशन कराया। इस मामले में अंबी बिष्ट के साथ-साथ एलडीए के तत्कालीन अनुभाग अधिकारी वीरेंद्र सिंह, उप सचिव देवेंद्र सिंह राठौड़, वरिष्ठ कॉस्ट अकाउंटेंट बी महादनी और अवर वर्ग सहायक शैलेंद्र कुमार गुप्ता के खिलाफ भी केस दर्ज किया गया है। ये दोनों मामले एक के बाद एक सामने आए हैं।

​अपर्णा यादव: सपा से भाजपा तक का सफर

​अपर्णा यादव, पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के संस्थापक मुलायम सिंह यादव की छोटी बहू हैं। उनका राजनीतिक सफर 2017 में शुरू हुआ, जब उन्होंने समाजवादी पार्टी के टिकट पर लखनऊ कैंट विधानसभा सीट से चुनाव लड़ा। हालांकि, उस चुनाव में उन्हें भाजपा उम्मीदवार रीता बहुगुणा जोशी के हाथों हार का सामना करना पड़ा था।

​इसके बाद, जनवरी 2022 में उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से ठीक पहले, अपर्णा यादव ने समाजवादी पार्टी छोड़कर भाजपा का दामन थाम लिया। यह कदम राजनीति में एक बड़ा घटनाक्रम था, क्योंकि यह सीधे तौर पर समाजवादी परिवार में फूट का संकेत था। भाजपा में शामिल होने के बाद, अपर्णा यादव को उत्तर प्रदेश राज्य महिला आयोग का उपाध्यक्ष बनाया गया। यह जिम्मेदारी उन्हें लगभग ढाई साल के इंतजार के बाद मिली।

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