साइबेरिया में होता है ''दुनिया का अंत''! यहां है 262 फीट चौड़ा और अंतहीन गहरा रहस्यमयी होल
साइबेरिया के यमल में बने 262 फीट चौड़े गड्ढे ने पूरी दुनिया को हैरत में डाल दिया है।

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haribhoomi.comCreated On: 18 July 2014 12:00 AM GMT
मास्को. दुनिया में न जाने कितने रहस्य हैं जिनसे परदा उठना अभी बाकी है। इन्हीं रहस्यों में से एक रहस्य है रूस के सायबेरिया क्षेत्र के यमल में एक 262 फीट चौड़ा गड्ढा पूरी दुनिया के लिए एक रहस्य बना हुआ है। स्थानीय परंपराओं के अनुसार यमल का अर्थ होता है 'दुनिया का अंत'। यमल के इस अर्थ के को भी इस गड्ढे से जोड़कर देखा जा रहा है। लेकिन वैज्ञानिक इस गड्ढे के रहस्यों की खेज कर रहे हैं। साइबेरिया के इस क्षेत्र में तापमान आम तौर पर शून्य से 50 डिग्री नीचे तक चला जाता है।
इस गड्ढे की गहराई का अभी कोई अंदाजा नहीं है। इसे समझने के लिए साइबेरिया के सेंटर फॉर स्टडी ऑफ आर्कटिक से दो और रूस की अकैडमी ऑफ साइंस से एक विशेषज्ञ वहां जा रहे हैं। इस गड्ढे के बनने के कारणों को लेकर अटकलें भी शुरू हो गई हैं। जहां कुछ लोग इसे किसी मीटियरॉइट की टक्कर से बना हुआ मान रहे हैं, वहीं कुछ का मानना है कि धरती के नीचे चट्टानों के धंसने से यह सुराख बना होगा।
नीचे की स्लाइड्स में जानिए 'दुनिया के अंत' का रहस्य -
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