बीएचयू मामला: वीसी हुए तलब, कहा- अगर हम हर लड़की की सुनेंगे तो कॉलेज नहीं चला सकते
बीएचयू मामले में 1200 अज्ञात छात्र-छत्राओं पर केस दर्ज किया गया है।

बनारस के काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) में को एक लड़की से छेड़खानी के बाद हुए विरोध प्रदर्शनों के बाद वाइस-चांसलर जीसी त्रिपाठी ने कहा कि कैम्पस में लड़कियां पूरी तरह सुरक्षित है।
वीसी गिरीश चंद्र त्रिपाठी ने कहा कि ये घटना दुर्भाग्यपूर्ण है। मुझे इसका बहुत अफसोस है। लेकिन इस मामले को बाहरी लोगों द्वारा खड़ा किया गया है। इस मामले की निष्पक्ष जांच चल रही है।
वीसी ने कहा कि कुछ छात्रों ने विश्वविद्यालय राजनीति का अड्डा बनाया हुआ है जबकि विश्वविद्यालय में राजनीति के लिए कोई जगह नहीं होती है। कुछ लोगो अपने स्वार्थ के लिए इस घटना को ज्यादा तूल दे रहे है, जबकि मामले की जांच चल रही है।
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इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक से वीसी त्रिपाठी ने कहा कि अभिभावक मानते हैं कि ये सबसे सुरक्षित कैम्पस है। लड़कियों और लड़कों के लिए कैम्पस से बाहर निकलने के लिए टाइमटेबल है।
वीसी ने कहा कि इस टाइम टेबल की वजह से ही स्टूडेंट्स सुरक्षति हैं, लेकिन अगर कुछ स्टूडेंट इस नियम का पालन नहीं करते तो उसका नुकसान उन्हें भुगतना पड़ता है।
त्रिपाठी ने कहा कि अगर यूनिवर्सिटी हर लड़की की मांग सुनने लगे तो यूनिवर्सिटी नहीं चल सकेगी। ये सारे नियम उनकी सुरक्षा के लिए हैं, और लड़कियों के पक्ष में हैं।
गौरतलब है कि इस मामले की पुलिस ने जांच पूरी कर ली है और कमिश्नर नितिन रमेश गोकर्ण ने जांच रिपोर्ट योगी सरकार को सौंप दी है।
कमिश्नर की रिपोर्ट के बाद मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने बीएचयू के वीसी को दिल्ली तलब किया है।
वहीं बीएचयू परिसर में शांति भंग करने के आरोप में 1200 अज्ञात छात्र-छत्राओं पर केस दर्ज किया गया है।
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