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FIFA World Cup 2018: चार साल पहले शर्मसार होने वाली इंग्लैंड होगी ट्यूनीशिया के खिलाफ प्रबल दावेदार

इंग्लैंड को चार साल पहले विश्व कप में ग्रुप चरण से बाहर होकर शर्मसार होना पड़ा था लेकिन टीम युवाओं के बूते सोमवार को वोल्गोग्राद एरिना में ट्यूनीशिया के खिलाफ होने वाले शुरूआती मैच में जीत से शुरूआत करना चाहेगी।

FIFA World Cup 2018: चार साल पहले शर्मसार होने वाली इंग्लैंड होगी ट्यूनीशिया के खिलाफ प्रबल दावेदार
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इंग्लैंड को चार साल पहले विश्व कप में ग्रुप चरण से बाहर होकर शर्मसार होना पड़ा था लेकिन टीम युवाओं के बूते सोमवार को वोल्गोग्राद एरिना में ट्यूनीशिया के खिलाफ होने वाले शुरूआती मैच में जीत से शुरूआत करना चाहेगी।

इसमें कोई शक नहीं कि कोच गेरेथ साउथगेट की टीम ट्यूनीशिया के खिलाफ मैच में पूरे तीन अंक हासिल करने की प्रबल दावेदार है लेकिन उसे विपक्षी टीम से मिलने वाली चुनौती से भी सतर्क रहना होगा। अगर ‘थ्री लायंस' की टीम इस मैच में हार जाती है तो यह नतीजा बड़ा हैरानी भरा होगा।

इंग्लैंड की टीम 2002 और 2006 दोनों में क्वार्टरफाइनल तक पहुंची थी लेकिन वह 2010 विश्व कप के अंतिम 16 में बाहर हो गयी थी और फिर पिछले विश्व कप में ग्रुप चरण से आगे नहीं बढ़ सकी थी। हालांकि साउथगेट की टीम पर कोई दबाव नहीं है लेकिन एक और बार ग्रुप चरण से बाहर होना उस टीम के लिये काफी निराशाजनक होगा जिसमें काफी युवा खिलाड़ी मौजूद हैं।

इंग्लैंड ने टूर्नामेंट शुरू होने से पहले दो मैत्री मैचों में नाइजीरिया और कोस्टा रिका को पराजित किया और जून 2017 में फ्रांस से मिली 2-3 की हार के बाद उसने एक भी मैच नहीं गंवाया है। टीम की तैयारियां अच्छी रही हैं जिससे उसके खिलाड़ी आत्मविश्वास से भरे दिख रहे हैं और टीम ट्यूनीशिया के खिलाफ जीत से मजबूत शुरूआत करना चाहेगी।

उनके लेफ्ट बैक खिलाड़ी डैनी रोज ने टूर्नामेंट की पूर्व संध्या पर खुलासा किया कि वह तनाव से गुजर चुके हैं। हालांकि टूर्नामेंट से पहले रहीम स्टरलिंग की पैर पर ‘ बंदूक ' का टैटू बनाने की लिये काफी आलोचना हुई थी। वहीं 2006 के बाद अपने पहले विश्व कप में खेल रही ट्यूनीशिया को पता है कि उनके सामने इंग्लैंड और बेल्जियम से इस ग्रुप में कड़ी चुनौती मिलेगी।

ट्यूनीशिया कभी भी विश्व कप के ग्रुप चरण से बाहर नहीं रही लेकिन वह 2010 और 2014 के लिये क्वालीफाई नहीं कर सकी। नबिल मालोल की टीम टूर्नामेंट की तैयारियों के दौरान शानदार फार्म में दिख रही है , उसने मैत्री मैचों में पुर्तगाल और तुर्की से ड्रा खेला लेकिन उसे नौ जून को स्पेन से 0-1 से करीबी हार मिली।

इस ग्रुप में पनामा के सभी तीनों ग्रुप मैच गंवाने की उम्मीद है लेकिन अगर वह इंग्लैंड से और फिर बेल्जियम से हार जाती है तो तीसरे मैच से पहले टीम टूर्नामेंट से बाहर होने की कगार पर पहुंच जायेगी। टीम ने विश्व कप के फाइनल्स में केवल एक मैच जीता है। उसे अपने अहम खिलाड़ी युसूफ एकसकनी के गंभीर घुटने की चोट के कारण टूर्नामेंट से बाहर होने का करारा झटका लगा।

वहीं विंगर वाहबी खाजरी जांघ में चोट के बाद से नहीं खेले हैं लेकिन ट्यूनीशिया के कप्तान को इंग्लैंड के खिलाफ मैच से पहले फिट होने का भरोसा है। लेकिन टीम इस बात को दिमाग में लेकर खेलेगी कि उसके पास गंवाने के लिये कुछ नहीं है जबकि सीखने के लिये बहुत सी चीजे हैं।

इंग्लैंड की शुरूआती एकादश में एशले यंग को लेफ्ट विंग बैक में डैनी रोज की जगह उतारा जा सकता है जबकि जोर्डन हेंडरसन के भी एरिक डिएर पर तरजीह दी जा सकती है। हैरी मैगुइरे शुरूआती एकादश में तीन सेंटर बैक में से एक होंगे जबकि जेसे लिंगार्ड , डेले अली और रहीम स्टरलिंग थ्री लायंस में कप्तान हैरी केन के पीछे हो सकते हैं। मार्कस रैशफोर्ड के घुटने की समस्या से फिट होने की उम्मीद है।

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