Hari bhoomi hindi news chhattisgarh
toggle-bar

''सिंधु जल संधि'' को लेकर भारत के खिलाफ आक्रामक अभियान शुरू करेगा पाकिस्तान

भारत ने पाकिस्तान के अधिकारियों को जम्मू-कश्मीर में दो पनबिजली परियोजनाओं का दौरा नहीं करने दिया। इसके बाद पाकिस्तान सिंधु जल संधि पर अपनी चिंताओं को लेकर भारत के खिलाफ आक्रामक अभियान शुरू करेगा।

सिंधु जल संधि को लेकर भारत के खिलाफ आक्रामक अभियान शुरू करेगा पाकिस्तान
X

पाकिस्तान 1960 की सिंधु जल संधि (आईडब्ल्यूटी) को लेकर अपनी चिंताओं पर ध्यान आकर्षित करने के लिए भारत के खिलाफ आक्रामक अभियान शुरू करेगा। मंगलवार को मीडिया में आई एक खबर में ऐसा कहा गया।

भारत ने पाकिस्तान के अधिकारियों को जम्मू-कश्मीर में दो पनबिजली परियोजनाओं का दौरा नहीं करने दिया जिसके बाद पाकिस्तान ने इस मुद्दे पर उसके खिलाफ अभियान चलाने का मन बनाया है।

इसे भी पढ़ें- रूस के साथ 'परमाणु हथियार नियंत्रण संधि' से अलग होगा अमेरिकाः डोनाल्ड ट्रंप

स्थायी सिंधु जल आयोग पर पाकिस्तान के आयुक्त सैयद मेहर अली शाह ने कहा कि भारतीय जल आयुक्त ने 29 और 30 अगस्त को हुई वार्षिक बैठक में वादा किया था कि सितंबर के अंतिम हफ्ते में जम्मू-कश्मीर में 1,000 मेगावाट की पाकल दुल और 48 मेगावाट की लोअर कलनाई परियोजना के दौरे का प्रबंध किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में स्थानीय चुनावों के कारण यह दौरा मध्य अक्टूबर तक के लिए टल गया। डॉन समाचारपत्र की एक खबर के मुताबिक, शाह ने आरोप लगाया कि भारतीय पक्ष ने उसके संशोधित कार्यक्रम का सम्मान नहीं किया और कहा कि राज्य में 20 साल बाद पंचायत चुनाव हो रहे हैँ।

शाह ने कहा कि उन्होंने निराशा जाहिर करने के लिए एक पत्र लिखा और फिर कुछ दिन पहले अपने समकक्ष से फोन पर बात की। उन्होंने कहा कि फोन पर हुई बातचीत के आधार पर, उन्हें नहीं लगता कि जल्द कोई दौरा होगा।

इसे भी पढ़ें- पत्रकारों के संगठनों ने की खशोगी, सोहैल खान की हत्या मामले में न्याय की मांग

जल संसाधन मंत्री फैसल वावदा ने कहा कि वह चेतावनी नहीं देना चाहते लेकिन देश में और देश के बाहर आक्रामक अभियान शुरू करेंगे क्योंकि भारत ने 1960 की संधि का गंभीर उल्लंघन किया है।

भारत और पाकिस्तान ने नौ सालों की बातचीत के बाद 1960 में सिंधु जल संधि पर हस्ताक्षर किए थे जिसमें विश्व बैंक भी एक हस्ताक्षरकर्ता (सिग्नेटरी) है। दोनों देशों के जल आयुक्तों को साल में दो बार मुलाकात करनी होती है और परियोजना स्थलों एवं महत्त्वपूर्ण नदी हेडवर्क के तकनीकी दौरे का प्रबंध करना होता है।

और पढ़े: Haryana News | Chhattisgarh News | MP News | Aaj Ka Rashifal | Jokes | Haryana Video News | Haryana News App

और पढ़ें
Next Story