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MP News: छलका प्रशासनिक अधिकारी का दर्द, ट्वीट कर कहा भूत की तरह सता रहा ''खान'' सरनेम

अंडरवर्ल्ड डॉन अबू सलेम पर लिखे उपन्यास को लेकर चर्चाओं में रहे लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के उप सचिव विभाग के उप सचिव नियाज खान ने प्रमुख सचिव विवेक अग्रवाल पर प्रताड़ना का आरोप लगाया है।

MP News:  छलका प्रशासनिक अधिकारी का दर्द, ट्वीट कर कहा भूत की तरह सता रहा खान सरनेम
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भोपाल। अंडरवर्ल्ड डॉन अबू सलेम पर लिखे उपन्यास को लेकर चर्चाओं में रहे लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के उप सचिव विभाग के उप सचिव नियाज खान ने प्रमुख सचिव विवेक अग्रवाल पर प्रताड़ना का आरोप लगाया है।
नियाज ने अग्रवाल की ​शिकायत मुख्य सचिव से करने के साथ ट्विटर एकांउट पर अपनी भड़ास निकालते हुए कहा देश में मुस्लिम अधिकारियों के साथ दोयम दर्जे का व्यवहार होता है। उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा है कि खान शब्द उनके साथ भूत की तरह चिपका हुआ है। 17 साल की नौकरी में मेरे साथ अछूत जैसा व्यवहार होता आ रहा है।
अपनी तकलीफ बताते हुए नियाज ने कहा कि 17 साल की नौकरी में मेरे 19 तबादले 10 विभिन्न जिलों में किए गए हैं। नियाज का कहना है कि गुना जिले में पदस्थ रहते हुए देश का सबसे बड़ा ओडीएफ घोटाला पकड़ने के बावजूद उन्हें लूप लाइन पोस्टिंग दे दी गई। जबकि जिन्होंने असर में घोटाला किया वे आज भी प्राइम पोस्टिंग पर बैठे हुए हैं।
वहीं उप सचिव नियाज ने मुख्य सचिव से अपनी शिकायत में कहा है कि बुधवार को पीएचई की समय सीमा की बैठक थी। बैठक में प्रमुख सचिव विवेक अग्रवाल ने नियाज खान से जानकारी मांगी। इस पर जब खान ने कहा कि विभागाध्यक्ष ने अभी जानकारी नहीं भेजी है।
तो प्रमुख सचिव ने पूछा कि जानकारी कैसे मांगी थी, तो खान ने कहा कि मैंने फोन पर जानकारी मांगी थी। इस बात पर अग्रवाल ने तुरंत नियाज खान से कहा, 'गेट आउट'। नियाज ने मुख्य सचिव से शिकायत में कहा है कि मैं विवेक अग्रवाल के साथ काम नहीं कर सकता।
नियाज ने सिलसिलेवार 5 ट्वीट किए हैं...
  • सरकारी सेवा में 17 साल, 10 जिलों में स्थानांतरण और 19 पारी में, मुझे हमेशा एक जर्मन यहूदी की तरह अछूत महसूस कराया गया। खान सरनेम ने मुझे भूत की तरह मार डाला।
  • गुना जिले में मैंने देश के सबसे बड़े ओडीएफ घोटाले और सहरिया जनजातियों के खिलाफ क्रूरता का पर्दाफाश किया। 600 मुक्तिधाम और परिणाम बनाए इसके बदले मुझे लूप लाइन में भेजा दिया गया। वहीं दोषी अधिकारियों को काम करने का बेहतर अवसर दिया गया। यह किस तरह का न्याय है?
  • यहां तक कि सवा साल से अधिक समय हो गया और मुझे अभी तक एक घर आवंटित नहीं किया गया है।
  • एक समय था जब मैं अवसाद के कगार पर पहुंच गया था लेकिन साहित्य ने मुझे गिरने से बचा लिया। मैंने अपने साथ हुए भेदभाव को सृजन में बदल दिया है और अब मैं पांच उपन्यासों के साथ अंग्रेजी उपन्यासकार हूं।
  • अब मैं अपना छठा उपन्यास 'ए टेल ऑफ़ नोक्टूरल लवर' लिख रहा हूं, जिसमें मैं दिखाऊंगा कि कैसे मुस्लिम अधिकारियों को द्वितीय श्रेणी का नागरिक माना जाता है। यह मेरे अपने अनुभवों पर आधारित है।

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