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एंटी करप्शन ब्यूरो ने झारखंड के पूर्व खेल मंत्री को किया गिरफ्तार, जानिए क्या है पूरा मामला

झारखंड के पूर्व खेल मंत्री और झारखंड विकास मोर्चा के नेता बंधु तिर्की को एंटी करप्शन ब्यूरो ने गिरफ्तार कर लिया। उन्हें रांची के सिविल कोर्ट परिसर से राष्ट्रीय खेल घोटाला मामले में गिरफ्तार किया गया। इस घोटाले में इससे पहले एसएम हाशमी और पीसी मिश्रा को गिरफ्तार किया गया था।

एंटी करप्शन ब्यूरो ने झारखंड के पूर्व खेल मंत्री को किया गिरफ्तार, जानिए क्या है पूरा मामला
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Anti Corruption Bureau arrested former Jharkhand Sports Minister Bandhu Tirkey

झारखंड के पूर्व खेल मंत्री और झारखंड विकास मोर्चा के नेता बंधु तिर्की को एंटी करप्शन ब्यूरो ने गिरफ्तार कर लिया। उन्हें रांची के सिविल कोर्ट परिसर से राष्ट्रीय खेल घोटाला मामले में गिरफ्तार किया गया। इस घोटाले में इससे पहले एसएम हाशमी और पीसी मिश्रा को गिरफ्तार किया गया था।

खबरों के मुताबिक 34वें राष्ट्रीय खेल घोटाला मामले में गिरफ्तारी से बचने के लिए उन्होंने हाईकोर्ट की शरण ली थी लेकिन कोर्ट ने उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी। इसके बाद बुधवार को रांची के सिविल कोर्ट परिसर उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। इससे पहले निचली कोर्ट ने भी उनकी अग्रिम जमानत याचिका को खारिज कर दिया था।


बंधु तिर्की की गिरफ्तारी के साथ ही अब टेंडर कमेटी के चार अन्य सदस्यों पर भी गिरफ्तारी की तलवार लटकने लगी है। बीते सप्ताह कोर्ट ने बंधु तिर्की की अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई की थी। अग्रिम जमानत याचिका में तिर्की ने कहा था कि एसीबी को उनके खिलाफ इस मामले में कोई सबूत नहीं मिला। इसलिए उन्हें जमानत मिलनी चाहिए। लेकिन बाद में उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी गई।

बता दें कि स्क्वैश कोर्ट के निर्माणा का जिम्मा मुंबई की कंपनी जाइरेक्स इंटरप्राइजेज को दिया गया था। बंधु तिर्की पर धनबाद में दो स्क्वैश कोर्ट के निर्माण में वित्तीय अनियमितता बरतने का आरोप है। इस कंपनी ने 1,44,32,850 करोड़ रुपये का एस्टीमेट दिया था। इसके बाद तत्कालीन खेल निदेशक, खेल सचिव और आयोजन समिति के महासचिव एसएम हाशमी की अनुशंसा के बाद इस प्रस्ताव की फाइल बंधु तिर्की के पास भेजी गई थी।



बंधु तिर्की ने इसे 20 अक्टूबर 2008 को अप्रूव कर दिया। इसमें कंपनी को अग्रिम पचास लाख रुपये का भुगतान कर दिया गया लेकिन बाद में बिना स्वीकृति के भुगतान के कारण वित्तीय अनियमितता की पुष्टि हुई।

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