कठुआ रेप केस: HC के वकीलों ने पीड़िता पक्ष की वकील को केस ना लड़ने की दी धमकी
कश्मीर के कठुआ में एक आठ साल की बच्ची का अपहरण और बाद में रेप और हत्या का मामला लगातार गर्माता जा रहा है।

कश्मीर के कठुआ में एक आठ साल की बच्ची का अपहरण और बाद में रेप और हत्या का मामला लगातार गर्माता जा रहा है। पीड़ित परिवार की वकील दीपिका एस राजावत को स्थानीय वकीलों और जम्मू और कश्मीर हाई कोर्ट में बार एसोसिएशन अध्यक्ष बीएस सलाठिया पर केस ना लड़ने के लिए धमकी दी है।
पीड़ित परिवार की वकील दीपिका एस राजावत ने आज न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए कहा कि 'हमने देखा कि किस तरह से स्थानीय वकीलों ने क्राइम ब्रांच को चार्जशीट फाइल करने से रोका।
आप आरोपी को बचाने की कोशिश क्यों कर रहे हैं? क्या ये लोग किसी और उद्देश्य को पूरा करने की कोशिश कर रहे हैं? वे कह रहे हैं कि अपराध शाखा ने ठीक से जांच नहीं की है।
We saw how local lawyers stopped crime branch from filing charge-sheet.. Why are you trying to protect the accused?Are they trying to satisfy an ulterior motive. They are saying that crime branch has not investigated properly:Deepika S Rajawat,Counsel, Kathua rape victim's family pic.twitter.com/9Ssc2cNFj9
— ANI (@ANI) April 11, 2018
दीपिका सिंह राजावत ने यह भी कहा, 'जम्मू-कश्मीर बार असोसिएशन के अध्यक्ष बीएस सलाठिया मुझे जम्मू-कश्मीर हाई कोर्ट में मिले और धमकाया कि केस मत लड़ो। अब वह झूठ बोल रहे हैं कि मैंने हाथ जोड़कर अपील की। आज मेरी नजरों में उनकी कोई इज्जत नहीं बची है।
He (Jammu Bar Association President BS Salathia) met me at J&K HC, openly extended threats and said please don't appear. He is now lying that I folded my hands and requested. Today, I have lost all my respect towards him: DS Rajawat, Counsel, Kathua rape victim's family pic.twitter.com/CbKUjLOYAM
— ANI (@ANI) April 11, 2018
ये है पूरा मामला
आपको बता दें कि जम्मू संभाग के कठुआ मामले के आरोपपत्र से इस बात का खुलासा हुआ है कि आठ वर्षीय बच्ची को नशीली दवा दे कर रखा गया था और उसकी हत्या से पहले दरिंदों ने फिर से उसे हवस का शिकार बनाया था।
गौरतलब है कि इस बच्ची को जनवरी में एक हफ्ते तक कठुआ जिला स्थित एक गांव के एक मंदिर में बंधक बना कर रखा गया था और उससे छह लोगों ने कथित तौर पर बलात्कार किया था।
जम्मू कश्मीर पुलिस की अपराध शाखा ने यहां सोमवार को मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में 15 पृष्ठों का आरोपपत्र दाखिल किया। इसमें इस बात का खुलासा हुआ है कि बकरवाल समुदाय की बच्ची का अपहरण, बलात्कार और हत्या इलाके से इस अल्पसंख्यक समुदाय को हटाने की एक सोची समझी साजिश का हिस्सा थी।
इसमें कठुआ स्थित रासना गांव में देवीस्थान, मंदिर के सेवादार को अपहरण, बलात्कार और हत्या के पीछे मुख्य साजिशकर्ता बताया गया है। सांझी राम के साथ विशेष पुलिस अधिकारी दीपक खजुरिया और सुरेंद्र वर्मा, मित्र परवेश कुमार उर्फ मन्नू, राम का किशोर भतीजा और उसका बेटा विशाल जंगोत्रा उर्फ शम्मा कथित तौर पर शामिल हुए।
आरोपपत्र में जांच अधिकारी (आईओ) हेड कांस्टेबल तिलक राज और उप निरीक्षक आनंद दत्त भी नामजद हैं जिन्होंने राम से कथित तौर पर चार लाख रूपया लिए और अहम सबूत नष्ट किए। किशोर की भूमिका के बारे में मंगलवार को एक अलग आरोपपत्र दाखिल किया गया।
सभी आठ लोग गिरफ्तार कर लिए गए हैं। वहीं जम्मू में वकीलों ने आरोपियों के समर्थन में आज कामकाज बंद रखा। आरोपपत्र में कहा गया है कि बच्ची का शव बरामद होने से छह दिन पहले 11 जनवरी को किशोर ने अपने चचेरे भाई जंगोत्रा को फोन किया था और मेरठ से लौटने को कहा था, जहां वह पढ़ाई कर रहा था।
दरअसल उसने उससे कहा कि यदि वह मजा लूटना चाहता है तो आ जाए। आठ वर्षीय बच्ची 10 जनवरी को लापता हो गई थी जब वह जंगल में घोड़ों को चरा रही थी।
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