सिर्फ प्यार के सहारे ही बिताया अपना जीवन, ऐसी खास है दिलीप कुमार और सायरा बानो की प्रेम कहानी
बॉलीवुड के वेटेरन एक्टर दिलीप कुमार का 7 जुलाई को इंतकाल हो गया। दिलीप की बेग़म सायरा हमेशा एक्टर के साथ साये की तरह रहती थी। सायरा बानो और दिलीप कुमार का रिश्ता हर किसी इंसान के लिए एक प्रेरणा है। दोनो ने जिंदगी के हर मौसम को साथ में जिया है। कोई भी उतार चढ़ाव इन दोनो को एक दूसरे से अलग नहीं कर पाया। सच्चा प्यार और उसे निभाया कैसे जाता है ये कोई इस कपल से सीखे।

सिर्फ प्यार के सहारे ही बिताया अपना जीवन, ऐसी खास है दिलीप कुमार और सायरा बानो की प्रेम कहानी
बॉलीवुड के वेटेरन एक्टर दिलीप कुमार (Dilip Kumar) का 7 जुलाई को इंतकाल हो गया। सुबह से उनके घर में आने जाने वालों का तांता लगा है। अभिनेता से लेकर नेता तक और खेल जगत तक हर कोई दिलीप कुमार के निधन पर शोक प्रकट करते हुए उन्हें श्रद्धांजली दे रहा है। सोचिए जब औरों का ये हाल है तो हमेशा साये की तरह रहने वाली सायरा बानो (Saira Banu) का क्या होगा। सायरा बानो ने हर कदम पर दिलीप साहब का हाथ थामें रखा था। इस दुख से उबर पाना काफी मुश्किल है।
सायारा और दिलीप का रिश्ता है एक प्रेरणा
सायरा बानो और दिलीप कुमार का रिश्ता हर किसी इंसान के लिए एक प्रेरणा है। दोनो ने जिंदगी के हर मौसम को साथ में जिया है। कोई भी उतार चढ़ाव इन दोनो को एक दूसरे से अलग नहीं कर पाया। सच्चा प्यार और उसे निभाया कैसे जाता है ये कोई इस कपल से सीखे। ऐसी कई बातें हैं जो इस जोड़ी को खास बनाती है। जब सायरा और दिलीप कुमार की शादी हुई तो एक्टर 44 साल के थे और एक्ट्रेस सिर्फ 22 साल की। उस समय सायरा का करियर पीक पर था लेकिन फिर भी उन्होंने अपनी शादी की खातिर बॉलीवुड से नाता तोड़ लिया। जहां आज के समय में शादी के बाद नौकरी छोड़ देने वालों को जज किया जाता है वहीं सायरा बानो ऐसे लोगों के लिए प्रेरणा का स्रोत है।
जब सायरा बनने वालीं थी मां
दिलीप कुमार और सायरा बानो को ताउम्र एक-दूसरे के प्यार का ही सहारा था। दरअसल दिलीप साहब और सायरा बानो जिंदगी भर बेऔलाद रहे। इस बात पर जितने मुंह उतनी बातें हुईं थी। कुछ ने सायरा को कटघरे में खड़ा किया तो किसी ने दिलीप कुमार को शक़ भरी निगाहों से देखा। जीवनी 'Dilip Kumar: The Substance and the Shadow' में इस घटना के बारें में भी कुछ बातें लिखी गयी है। दिलीप ने इसमें बताया था कि साल 1972 में सायरा मां बनने वाली थी। लेकिन 8वें महीने में हाई ब्लडप्रेशर के चलते उनका मिसकैरेज हो गया। डॉक्टर उनकी होने वाली औलाद को बचाने में नकामयाब रहें। इस घटना को दोनो ने ऊपर वाले की इच्छा माना और फिर कभी औलाद के बारें में नहीं सोचा।
एक- दूसरे के प्यार के सहारे ही काटी पूरी जिंदगी
अपने होने वाले बच्चे को खो देने पर दोनो टूटे जरूर लेकिन इस घटना का दोनो के बीच प्यार पर कोई असर नहीं हुआ। उल्टा दोनो इसके बाद एक-दूसरे का खास ख्याल रखने लगे। सायरा से जब एक मीडिया इंटरव्यू में पूछा गया कि क्या उन्हें परिवार में बच्चे न होने का मलाल नहीं है। इस सवाल पर एक्ट्रेस का जवाब था कि 'हमारी शादी मेरे लिए जिंदगी में सबसे ज्यादा अहमियत रखती है। मुझे बच्चे की कमी महसूस नहीं होती क्योंकि दिलीप साहब दिल से खुद बच्चे जैसे हैं।' वो दिलीप कुमार का प्यार ही था जिसनें सायरा को 8वें महीने में बच्चे को देने पर भी हिम्मत दी। दोनो के कोई औलाद नहीं थी फिर भी दोनो उदास नहीं रहते थे। वे अपने परिवार के बच्चों को भरपूर प्यार देते थे। अपने एक मीडिया इंटरव्यू में दिलीप साहब ने बताया था कि 'मुझे बच्चे बहुत पसंद हैं, लेकिन इस बारे में सोचने का समय कहां है? मेरे और सायरा के परिवार में करीब 30 बच्चे हैं और वे मुझे अपनी शरारतों के कारण पूरे समय व्यस्त रखते हैं। वे इतनी ऊर्जा से भरे हुए हैं कि मैं उन्हें संभालते-संभालते थक जाता हूं।' इन दोनो ने जिंदगी के काफी लंबे अरसे को साथ में गुजारा और आज एक्टर सायरा को इस दुनियां में अकेला छोड़ कर चले गए।